Sovereign Gold Bond Scheme 2022-23 की अगली किश्त आज पांच दिनों के लिए सब्सक्रिप्शन के लिए खुल गई है. सोने का इश्यू प्राइस (Sovereign Gold Bond Issue Price) 5,409 रुपये प्रति ग्राम तय किया गया है. भारतीय रिजर्व बैंक (Reserve Bank of India) भारत सरकार की ओर से बांड जारी करता है. खास बात ये है कि आरबीआई की ओर से जारी हुए गोल्ड बांड में निवेश करने का इस साल ये आखिरी मौका है. फिर अगले साल मार्च में ही मौका मिलेगा. अगर आप भी निवेश करना चाहते हैं तो आज से 5 दिनों तक मौका है.
आप एसजीबी कहां से खरीद सकते हैं?
SGB को अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (लघु वित्त बैंकों, भुगतान बैंकों और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों को छोड़कर), स्टॉक होल्डिंग कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (SHCIL), क्लियरिंग कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (CCIL), नामित डाकघरों और स्टॉक एक्सचेंजों एनएसई और बीएसई के माध्यम से बेचा जाएगा.
ऑनलाइन खरीदारों के लिए छूट
भारत सरकार ने, भारतीय रिजर्व बैंक के परामर्श से, ऑनलाइन आवेदन करने वाले और डिजिटल मोड के माध्यम से भुगतान करने वाले निवेशकों को 50 प्रति ग्राम की छूट देने का फैसला लिया है. आरबीआई के अनुसार ऐसे निवेशकों के लिए गोल्ड बॉन्ड का इश्यू प्राइस 5,359 रुपए प्रति ग्राम सोना होगा.’
SGB खरीदने का अगला मौका
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड्स (SGBs) 2022-23 सीरीज IV 06-10 मार्च, 2023 के दौरान सब्सक्रिप्शन के लिए खुलेगा.
गोल्ड बांड की अवधि
बॉन्ड की अवधि आठ साल की होगी, जिसमें 5वें साल के बाद समय से पहले भुनाने का विकल्प होगा, जिस तारीख को ब्याज देय होगा.
आपको एसजीबी में निवेश क्यों करना चाहिए?
एक्सपर्ट के अनुसार फिजिकल गोल्ड या डिजिटल गोल्ड में निवेश करने की तुलना में एसजीबी में निवेश करना बेहतर विकल्प माना जाता है. यह योजना भारत सरकार द्वारा समर्थित है और आरबीआई द्वारा रेगुलेट होती है. निवेशकों को प्रत्येक छमाही में 2.50 फीसदी प्रति वर्ष की निश्चित दर से रिटर्न मिलता है.
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड्स (SGBs) पर टैक्स
SGB के अलग-अलग टैक्सेशन नियम हैं. एसजीबी से होने वाला कैपिटल गेन मैच्योरिटी के समय टैक्स फ्री होता है. हालांकि, निवेशक पांच साल के बाद समय से पहले एसजीबी को रिडीम कर सकते हैं. यदि आप एसजीबी को पांच से आठ साल के बीच भुनाते हैं, तो लाभ को लांग टर्म कैपिटल गेन माना जाता है. इंडेक्सेशन बेनिफिट के साथ इस पर 20.8 फीसदी (उपकर सहित) टैक्स लगाया जाता है.
निवेशक स्टॉक एक्सचेंज पर सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड खरीद और बेच सकते हैं. यदि एसजीबी को तीन साल से पहले बेचा जाता है, तो पूंजीगत लाभ निवेशक की आय में जोड़ा जाता है और लागू आयकर स्लैब के आधार पर कर लगाया जाता है. इसके अलावा, तीन साल के बाद स्टॉक एक्सचेंज पर एसजीबी बेचने पर निवेशकों द्वारा अर्जित पूंजीगत लाभ लंबी अवधि के होते हैं और इंडेक्सेशन लाभ के साथ 20 फीसदी पर कर लगाया जाता है.