बिहारी यूट्यूबर मनीष कश्यप पर कानूनी शिकंजा कसते जा रहा है। अब तमिलनाडु की पुलिस ने यूट्यूबर पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) के तहत कार्रवाई की है। उधर,उन्हें मदुरै कोर्ट ने 19 अप्रैल तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। यूट्यूबर ने मामले में सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। कोर्ट से उन्होंने सभी एफआईआर को एक जगह क्लब करने की मांग की है।
यूट्यूबर मनीष कश्यप पर लगाया गया NSA, जानिए एक यूट्यूबर पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत कार्रवाई
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क्या है NSA?
एनएसए एक्ट भारत के सबसे कठिन कानूनों में से एक है। इसके तहत अगर केंद्र सरकार या राज्य सरकार को लगता है कि कोई व्यक्ति देश या राज्य की शांति और सुरक्षा के लिए खतरा है तो उसे 12 महीने तक गिरफ्तार कर उसे हिरासत में लिया जा सकता है।
कई मामलो पर चल रही कारवाही
यूट्यूबर पर एक के बाद एक कई तरह के आरोप लगाए जा रहे हैं। बिहार पुलिस और आर्थिक अपराध इकाई थाने में मनीष के खिलाफ कई गंभीर धाराओं में मुकदमे दर्ज किए गए हैं। इसके अलावा मनीष के बैंक अकाउंट्स भी फ्रीज कर दिए गए हैं।
यूट्यूबर मनीष कश्यप पर लगाया गया NSA, जानिए एक यूट्यूबर पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत कार्रवाई
यूट्यूबर मनीष कश्यप की याचिका पर 10 को सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट
यूट्यूबर मनीष कश्यप की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 10 अप्रैल को सुनवाई करेगा। कश्यप को तमिलनाडु पुलिस ने बिहार के श्रमिकों पर हमले का फर्जी वीडियो प्रसारित करने के आरोप में गिरफ्तार किया है। मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस जेबी पर्दीवाला की पीठ ने कश्यप के वकील से पूछा कि वह क्या राहत चाहते हैं। वकील ने कहा कि अब तमिलनाडु पुलिस ने उसके खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) लगा दिया है। पीठ ने कहा कि वह 10 अप्रैल को सुनवाई करेगी।
प्रवासी मजदूरों पर हमले की फर्जी वीडियो बनाने का आरोप
मनीष मूल रूप से बिहार के रहने वाले हैं। उन पर बिहार के प्रवासी मजदूरों पर तमिलनाडु में हमले का फर्जी वीडियो बनाने और उसे शेयर करने का आरोप लगाया है। इस मामले में बिहार के साथ-साथ तमिलनाडु पुलिस ने भी मनीष पर एफआईआर दर्ज की है।
18 मार्च को पुलिस के सामने सरेंडर करने के बाद यूट्यूबर को बिहार पुलिस ने कस्टडी में लेकर पूछताछ की थी। इसके बाद तमिलनाडु पुलिस की टीम कोर्ट से प्रोडक्शन वारंट लेकर मनीष को पटना से तमिलनाडु लेकर गई थी। यहां मदुरै कोर्ट में पेशी के बाद पुलिस को तीन दिन की रिमांड मिली थी। इस दौरान पुलिस ने उनसे पूछताछ की थी। बाद में कोर्ट ने 19 अप्रैल तक यूट्यूबर को न्यायिक हिरासत में भेज दिया।