17 जनवरी को शनि कुम्भ राशि में विराजमान थे। इसके बाद 13 फरवरी को ग्रहों के राजा सूर्य ने भी इसी राशि में प्रवेश किया। अब सूर्यदेव यहां 15 मार्च तक रहने वाले हैं। ज्योतिष शास्त्र में सूर्य और शनि को शत्रु ग्रह माना गया है। इसलिए ज्योतिषियों का कहना है कि सूर्य और शनि की इस युति से तीनों राशि के जातकों को बेहद सावधान रहना होगा। इस राशि के लोगों को 15 मार्च तक धन हानि हो सकती है। स्वास्थ्य बिगड़ सकता है। नौकरी-धंधे में सुस्ती रह सकती है। मनचाहा परिणाम मिलने में दिक्कत आ सकती है।
कर्क राशि
सूर्य-शनि की युति कर्क राशि के जातकों के लिए अशुभ मानी जाती है। सूर्य-शनि आपकी राशि के अष्टम भाव में विराजमान हैं। घर के बड़े बुजुर्गों के स्वास्थ्य का आपको विशेष ध्यान रखना होगा। आप स्वयं बीमारियों, दुर्घटनाओं के शिकार हो सकते हैं, इसलिए अपना ध्यान रखें। प्रतियोगी परीक्षाओं में व्यस्त छात्रों को मनचाहा परिणाम मिलने में कठिनाई हो सकती है। किसी विवाद में पड़ने से कष्ट होगा। कोर्ट-कचहरी के मामलों में परेशानी बढ़ सकती है।
मकर
सूर्य-शनि की युति मकर राशि वालों के लिए भी परेशानी पैदा करेगी। आपकी राशि से दूसरे भाव में सूर्य-शनि की युति बन रही है। मकर राशि वालों के लिए भी शनि की साढ़ेसाती चल रही है। ऐसे में आपका कारोबार मंदा पड़ सकता है। आर्थिक हानि होने की संभावना है। किसी अच्छे सौदे के बारे में बात करना बंद कर सकते हैं। स्वास्थ्य के मामलों में लापरवाही से बचना चाहिए। घर के बुजुर्ग माता-पिता के स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखें।
कुंभ राशि
सूर्य और शनि आपकी राशि के उच्च भाव में युति कर रहे हैं। कुंभ राशि वालों को 15 मार्च के बाद राहत मिलेगी। लेकिन इससे पहले आपको बेहद सावधान रहने की जरूरत है। इस अवधि में आपका बनाया हुआ काम बिगड़ सकता है। धन हानि हो सकती है। निवेश के लिए समय अनुकूल नहीं है। जीवनसाथी से अनबन हो सकती है। दांपत्य जीवन में खटास आ सकती है। जीवनसाथी का स्वास्थ्य भी बिगड़ सकता है।